प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज तमिलनाडु दौरे के दूसरे दिन अरियालुर जिले के गंगईकोंडा चोलपुरम पहुंचेंगे

जहां वह चोल सम्राट राजेंद्र चोल प्रथम की 1000वीं जयंती के अवसर पर आयोजित विशेष कार्यक्रम में भाग लेंगे। यह समारोह सम्राट के ऐतिहासिक समुद्री अभियानों की स्मृति और गंगईकोंडा चोलपुरम मंदिर की स्थापना के प्रतीक रूप में मनाया जा रहा है। इस मौके पर प्रधानमंत्री राजेंद्र चोल के सम्मान में एक विशेष स्मृति सिक्का भी जारी करेंगे।
आदि तिरुवथिरई महोत्सव में शामिल होंगे अधीनम
इस ऐतिहासिक आयोजन का हिस्सा ‘आदि तिरुवथिरई महोत्सव’ है, जो 23 से 27 जुलाई तक आयोजित किया जा रहा है। प्रधानमंत्री के साथ इस समारोह में तमिल शैव मठों के प्रमुख (अधीनम) भी मौजूद रहेंगे। इससे पहले 2023 में नए संसद भवन के उद्घाटन के अवसर पर सेंगोल की स्थापना में भी अधीनमों की अहम भूमिका रही थी। यह आयोजन तमिल संस्कृति, परंपरा और धार्मिक विरासत को राष्ट्रीय मंच पर सम्मान देने की दिशा में एक अहम कदम माना जा रहा है।
तूतीकोरिन में ₹4,900 करोड़ की परियोजनाओं की शुरुआत
शनिवार को अपने दौरे के पहले दिन प्रधानमंत्री मोदी ने तूतीकोरिन में ₹4,900 करोड़ से अधिक की विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया। इनमें हवाई अड्डे का नया टर्मिनल, हाईवे, पोर्ट, रेलवे और पावर ट्रांसमिशन से जुड़ी परियोजनाएं शामिल हैं। अपने संबोधन में प्रधानमंत्री ने ‘मेक इन इंडिया’ और ‘मिशन मैन्युफैक्चरिंग’ को भारत की शक्ति बताते हुए कहा कि ऑपरेशन सिंदूर में स्वदेशी हथियारों की भूमिका ने भारत की तकनीकी ताकत को सिद्ध किया है।
4800 करोड़ की परियोजनाएं समर्पित कीं
ब्रिटेन और मालदीव की चार दिवसीय विदेश यात्रा से लौटने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तमिलनाडु के तूतीकोरिन में 4800 करोड़ रुपये की विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया। उन्होंने कहा कि यह भारत की वैश्विक ताकत और आत्मविश्वास का प्रतीक है कि ब्रिटेन के साथ ऐतिहासिक फ्री ट्रेड एग्रीमेंट (FTA) हुआ है। इस समझौते से 99% भारतीय प्रोडक्ट्स अब ब्रिटेन में टैक्स फ्री होंगे, जिससे तमिलनाडु के MSME, स्टार्टअप और युवाओं को सीधा लाभ मिलेगा। पीएम ने इसे भारत की ग्रोथ में दुनिया की हिस्सेदारी बताया।
तमिलनाडु के विकास को बताया सांस्कृतिक और आर्थिक मिशन
PM मोदी ने अपने संबोधन में तमिलनाडु की ऐतिहासिक भूमिका को रेखांकित करते हुए बाबू चिदंबरम और सुब्रह्मण्यम भारती जैसे नेताओं का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि काशी-तमिल संगम जैसे प्रयास भारत की सांस्कृतिक एकता को मजबूत कर रहे हैं और तमिलनाडु की मिट्टी ने सदियों से स्वावलंबी भारत को दिशा दी है। उन्होंने यह भी बताया कि पिछले साल उन्होंने इसी पोर्ट प्रोजेक्ट का शिलान्यास किया था और अब एयरपोर्ट, रेलवे, हाईवे और पावर प्रोजेक्ट के साथ विकास को और गति दी जा रही है। कार्यक्रम में सीएम स्टालिन स्वास्थ्य कारणों से शामिल नहीं हुए।


